मुख्यमंत्री श्री चौहान द्वारा तैयारियों की समीक्षा
मुख्यमंत्री श्री शिवराजसिंह चौहान ने समर्थन मूल्य पर आगामी 15 मार्च से गेहूं की खरीदी के लिए आवश्यक व्यवस्थाएं सुनिश्चित करने के निर्देश दिये हैं।मुख्यमंत्री श्री चौहान आज यहां मंत्रालय में खरीदी की तैयारियों की समीक्षा कर रहे थे। बैठक में किसान कल्याण तथा कृषि विकास मंत्री डॉ. रामकृष्ण कुसमरिया, खाद्य, नागरिक आपूर्ति राज्य मंत्री श्री पारस जैन, प्रमुख सचिव खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति श्री अशोक दास, मुख्यमंत्री के सचिव श्री एस.के. मिश्र, प्रमुख सचिव श्री इंद्रनील दाणी, भण्डार गृह निगम के प्रबंध संचालक श्री अनिल श्रीवास्तव, पंजीयक सहकारी संस्थाएं श्री अरुण भट्ट एवं अन्य अधिकारी उपस्थित थे।
इस वर्ष भारत सरकार ने गेहूं का समर्थन मूल्य 1100 रुपये प्रति क्विंटल घोषित किया है। मध्यप्रदेश सरकार द्वारा इस पर 100 रुपये प्रति क्विंटल बोनस अतिरिक्त दिया जाएगा।
बैठक में बताया गया कि राज्य में इस वर्ष संभावित गेहूं के अधिक उत्पादन के आंकलन के अनुसार समर्थन मूल्य पर 35 लाख टन गेहूं की खरीदी के लिए व्यवस्थाएं की जा रही हैं। इस समय पश्चिम बंगाल में जूट मिलों में हड़ताल के कारण प्लास्टिक बेग की भी व्यवस्था की जा रही है। किसानों को समय पर भुगतान के लिए आवश्यक धनराशि की व्यवस्था कर ली गई है। किसानों से ही खरीदी हो यह सुनिश्चित करने के लिए पटवारी से बी-1 प्रमाण, खसरा अथवा ऋण पुस्तिका किसी एक को किसान होने का प्रमाण माना जाएगा। आवश्यक होने पर जिला प्रशासन तथा पुलिस का भी सहयोग लिया जाएगा।
मुख्यमंत्री श्री चौहान ने पिछले वर्ष के अनुभव के आधार पर किसानों को तत्काल भुगतान तथा परिवहन आदि के लिए व्यवस्थाएं सुनिश्चित करने को कहा। उन्होंने कहा कि वे स्वयं भी कुछ मण्डियों में खरीदी का निरीक्षण करेंगे।
इस वर्ष भारत सरकार ने गेहूं का समर्थन मूल्य 1100 रुपये प्रति क्विंटल घोषित किया है। मध्यप्रदेश सरकार द्वारा इस पर 100 रुपये प्रति क्विंटल बोनस अतिरिक्त दिया जाएगा।
बैठक में बताया गया कि राज्य में इस वर्ष संभावित गेहूं के अधिक उत्पादन के आंकलन के अनुसार समर्थन मूल्य पर 35 लाख टन गेहूं की खरीदी के लिए व्यवस्थाएं की जा रही हैं। इस समय पश्चिम बंगाल में जूट मिलों में हड़ताल के कारण प्लास्टिक बेग की भी व्यवस्था की जा रही है। किसानों को समय पर भुगतान के लिए आवश्यक धनराशि की व्यवस्था कर ली गई है। किसानों से ही खरीदी हो यह सुनिश्चित करने के लिए पटवारी से बी-1 प्रमाण, खसरा अथवा ऋण पुस्तिका किसी एक को किसान होने का प्रमाण माना जाएगा। आवश्यक होने पर जिला प्रशासन तथा पुलिस का भी सहयोग लिया जाएगा।
मुख्यमंत्री श्री चौहान ने पिछले वर्ष के अनुभव के आधार पर किसानों को तत्काल भुगतान तथा परिवहन आदि के लिए व्यवस्थाएं सुनिश्चित करने को कहा। उन्होंने कहा कि वे स्वयं भी कुछ मण्डियों में खरीदी का निरीक्षण करेंगे।
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