ऊर्जा मंत्री द्वारा विभागीय गतिविधियों की समीक्षा
Bhopal:Wednesday, November 4, 2009:Updated 18:42IST ऊर्जा, खनिज साधन राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) श्री राजेन्द्र शुक्ल ने विभागीय अधिकारियों को निर्देश दिये हैं कि रबी मौसम में किसानों को निर्धारित कार्यक्रम के अनुसार बिजली की आपूर्ति की जाये। उन्होंने पारेषण और वितरण पर कड़ी निगाह रखने और बिजली चोरी को सख्ती से रोकने के निर्देश दिये हैं। श्री शुक्ल आज राज्य मंत्रालय में ऊर्जा विभाग की गतिविधियों की समीक्षा कर रहे थे। इस अवसर पर ऊर्जा सचिव श्री एस.पी.एस. परिहार, अध्यक्ष एवं प्रबंध संचालक मध्यप्रदेश विद्युत क्षेत्र वितरण कम्पनी भोपाल श्री संजय शुक्ल भी उपस्थित थे।
बैठक में विद्युत उपलब्धता एवं प्रदाय की स्थिति, रबी मौसम के लिये वितरण ट्रांसफार्मरों की व्यवस्था, विद्युत उत्पादन क्षमता वृद्धि के लिये भविष्य का कार्यक्रम एवं प्रगति, क्षमता वृद्धि के लिये जारी नीतियां, वर्तमान में स्थापित विद्युत इकाईयों की दक्षता बढ़ाने के लिये कार्यक्रम, कृषक राहत योजना, बोर्ड की वित्तीय स्थिति, कोयले की उपलब्धता की स्थिति, सिंगाजी तथा सारणी ताप विद्युतगृह में इकाईयों के लिये कोयले की व्यवस्था, एनटीपीसी तथा बीएचईएल के साथ समझौता ज्ञापन संबंधी विषयों तथा एमओयू के संदर्भ में बनाई जा रही नीति की विस्तार से समीक्षा की।
बैठक में श्री शुक्ल ने कहा कि विद्युत का वितरण सही ढंग से हो। उन्होंने कहा कि किसानों को रबी मौसम में तय कार्यक्रम के अनुसार निर्बाध रूप से लगातार छह घंटे बिजली मिले इसके पुख्ता इंतजाम किये जायें। श्री शुक्ल ने कहा कि बिजली चोरी को रोकने के लिये और अधिक कारगर उपाय करने की जरूरत है।
ऊर्जा राज्यमंत्री ने राजस्व बढ़ाने पर भी जोर दिया। उन्होंने इसके लिये विभागीय अमले को पूरी तत्परता से कार्य करने को कहा। श्री शुक्ल ने प्लान्ट लोड फेक्टर बढ़ाने तथा पारेषण हानि कम करने की जरूरत पर भी बल दिया।
बिजली कटौती की समीक्षा करते हुए ऊर्जा राज्यमंत्री श्री शुक्ल ने कहा कि बिजली कटौती अघोषित न होकर तयशुदा समय के अनुसार की जाये जिससे लोगों को असुविधा न हो।
उन्होंने कहा कि प्रदेश में बिजली उत्पादन बढ़ाने के लिये किये जा रहे सुनियोजित प्रयासों को और गति दी जाये जिससे कि प्रदेश बिजली के क्षेत्र में आत्मनिर्भर हो सके। इस संबंध में निजी क्षेत्र के साथ किये गये अनुबंधों को भी तेजी से लागू करने के उन्होंने निर्देश दिये।
श्री शुक्ल ने कहा कि लोगों को बिजली की बचत करने के संबंध में प्रभावी रूप से शिक्षित और जागरूक किया जाये तथा गुणवत्तापूर्ण बिजली की आपूर्ति की जाये। इन दोनों उपायों से उपलब्ध बिजली का श्रेष्ठतम उपयोग सुनिश्चित हो सकेगा। उन्होंने बिगड़े ट्रांसफार्मरों को शीघ्र सुधारने के भी निर्देश दिये।
सचिव ऊर्जा श्री एस.पी.एस. परिहार ने बैठक में विभागीय गतिविधियों की विस्तार से जानकारी दी। उन्होंने बताया कि पिछले छह वर्षों में प्रदेश की स्थापित क्षमता में दोगुनी वृद्धि हुई है। वर्ष 2004 में स्थापित क्षमता करीब 2900 मेगावॉट थी जो अब बढ़कर छह हजार मेगावॉट से ऊपर हो गई है।
इस दौरान 3147 मेगावॉट की वृद्धि दर्ज की गई है। उन्होंने रबी सीजन में किसानों को बिजली प्रदाय किये जाने के लिये बनाये गये प्लान की जानकारी दी। श्री परिहार ने बताया कि केन्द्रीय क्षेत्र से प्रदेश को दो हजार मेगावॉट बिजली मिलना चाहिये जिसके विरुद्ध सिर्फ 16-17 सौ मेगावॉट बिजली मिल रही है।
श्री परिहार ने बैठक में पीएलएफ, टीएनडी लास, ग्रामीण विद्युतीकरण, विद्युतगृहों, विद्युत परियोजनाओं, ट्रांसफार्मर, बिजली के दक्षतापूर्ण उपयोग, गैर-परम्परागत ऊर्जा की परियोजनाओं आदि के विषय में विस्तार से बताया। उन्होंने फीडर सेपरेशन के संबंध में भी जानकारी दी।
अध्यक्ष एवं प्रबंध संचालक मध्यप्रदेश मध्यक्षेत्र विद्युत वितरण कम्पनी भोपाल श्री संजय शुक्ल ने भी अपनी कम्पनी के संबंध में विस्तार से जानकारी दी।
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